डॉ विवेक आर्य* : आप इस चित्र में निम्बू-मिर्च को देख रहे है। हिन्दू समाज में अन्धविश्वास का बोलबाला इतना बढ़ गया गया है कि हिन्दू समाज निम्बू-मिर्च को अपनी रक्षा का साधन मान रहा हैं। कोई इससे भूत उतारना बताता हैं, कोई इन्हें ऊपरी पराई से बचाने योग्य मानता है। क्या इस प्रकार कि मान्यता के पीछे कोई वैज्ञानिक आधार है? अगर निम्बू-मिर्च से रक्षा होनी होती तब तो भारत देश पर हमला करने वाले, हिंदुओं को जबरन मुसलमान बनाने वाले इस्लामिक आक्रान्ताओं से भी रक्षा हो जाती? हिंदुओं की कन्याओं को लव जिहाद के नाम पर बहला-फुसला कर जबर्दस्ती मुस्लमान बनाने वालो से भी रक्षा हो जाती? मगर ऐसा कुछ भी देखने में नहीं आता। इसलिए हे हिंदुओं अन्धविश्वास त्यागों, संगठित होने के लिए जातिवाद को मिटाओ, अपने धार्मिक ग्रंथों जैसे वेद ,दर्शन,उपनिषद्, रामायण, महाभारत , गीता आदि का स्वाध्याय कर धार्मिक चेतना कि क्रांति करो। तभी हिन्दू जाति का अस्तित्व बच पायेगा।
*अपीलकर्ता-एक व्यथित हिन्दू