मैं एक बार फिर अपने आपको गौरवान्वित महसूस कर रहा हूं कि मुझे अब राज्य ही नहीं, बल्कि राष्ट्र के एक अत्यंत प्रगतिशील और तेजी से आगे बढ़ते विश्वविद्यालय के कुलपति के रूप में देश के स्वतंत्रता दिवस पर आपको सम्बोधित करने का मौका मिल रहा है। देश व दुनिया में रह रहे समस्त भारतीयों तथा विशेष रूप से विश्वविद्यालय परिवार को भारत के 72वें स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं।
यह दिन एक तरफ हमें अपने उन महान स्वतंत्रता सेनानियों को ह्दय से नमन करने की प्रेरणा देता है जिन्होंने अपने प्राणों को न्योछावर करके भारत को आजाद कराया। वहीं, यह दिन हमें देश के गौरवमयी इतिहास और महान वर्तमान के बारे में जानने व समझने का अवसर देता है। साथ ही यह दिन हमें लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए हमारे द्वारा किए जा रहे प्रयासों के विश्लेषण का मौका भी देता है। हिसार की धरती भी वीर शहीदों की धरती रही है। मैं हिसार के महान स्वतंत्रता सेनानियों को आज इस मंच से नमन करता हूं। मैं इस मंच से उन ज्ञात-अज्ञात सभी शहीदों और स्वतंत्रता सेनानियों को नमन करता हूं जिनके बलिदान को किसी भी कारणवश इतिहास के पन्नों में जगह नहीं मिल पाई।
हरियाणा प्रदेश भी बढ़ते भारत के साथ अपनी कदम ताल मिला रहा है। हरियाणा प्रदेश वास्तव में नम्बर-1 प्रदेश के रूप में उभर रहा है। सरकारी नौकरियों में निष्पक्षता एवं पारदर्शिता से प्रदेशवासियों का व्यवस्था के प्रति विश्वास बढ़ा है। ‘ईज ऑफ डूईंग बिजनेस’ में भी हम आगे बढ़े हैं। भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने इसी प्रदेश की धरती से ‘बेटी पढ़ाओ बेटी बचाओ’ का नारा दिया था। हमारे प्रदेश की बेटी मानुसी छिल्लर ने मिस वर्ल्ड प्रतियोगिता को जीतकर हमारा गौरव बढ़ाया है। शिक्षक कर्मचारियों को सातवें वेतन का लाभ देने में भी हरियाणा ने पहल दिखाई है। हमारे लिए और भी खुशी की बात है कि आज के ही दिन हमारे हिसार शहर से चंडीगढ़ के लिए हवाई यात्रा शुरू हो रही है। हरियाणा प्रदेश में देश की मात्र दो प्रतिशत जनसंख्या निवास करती है, इसके बावजूद हरियाणा के खिलाड़ियों ने Common Wealth Games में कुल पदकों का 33 प्रतिशत पदक प्राप्त किये हैं।
गुरू जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, हिसार गुरू जम्भेश्वर जी महाराज के नाम पर स्थापित एक ऐसा विश्वविद्यालय है जिसने अपने छोटे से कार्यकाल में ही प्रगति के उच्च शिखरों को छुआ है। लगातार तीन बार ‘ए’ ग्रेड प्राप्त यह विश्वविद्यालय अभी Category II UGC की Autonomy प्राप्त किये है। पिछले कुछ दिनों में इस विश्वविद्यालय में क्रांतिकारी निर्णय लिए गए हैं। विद्यार्थियों को अपनी त्मेनसज जैसी समस्याएं रखने के लिए ऑनलाइन सुविधा उपलब्ध करवाई जा रही है। इसके लिए डवन् कर लिया गया है।
क्रेडिट बेस्ड सिस्टम हमारी परीक्षा पद्धति की एक शानदार व्यवस्था है इसको कॉलेजों में भी पहुंचाया जा रहा है। डा.ॅ अब्दुल कलाम सैंट्रल इंस्ट्रूमेंटेशन लैब उच्चस्तर की शोध व्यवस्थाएं उपलब्ध करवा रही है। किसी भी विश्वविद्यालय की प्रगति के लिए उस विश्वविद्यालय में पर्याप्त शिक्षकों का होना आवश्यक है। हमारा टीचर-स्टूडेंट रेशो पहले से बढ़ा है। 53 नए महाविद्यालयों की हमारे साथ अफ़्फिलीयशन से विश्वविद्यालय का कद और बढ़ा है। उद्योगों की जरूरत के अनुसार विद्यार्थियों को तैयार करने के लिए हमने उद्योगों के साथ अपनी भागीदारी को बढ़ाया है।
ट्रेनिंग अँड प्लेसमेंट सेल की विशेष भूमिका रही है। राष्ट्रीय तथा अन्तरराष्ट्रीय स्तर की संस्थाओं के साथ एमओयू किए हैं। ‘स्टार्ट-अप’ जैसे अभियानों से प्रेरणा लेकर हमने रिसर्च व इनोवेशन के लिए नए आइडिया विकसित करने के लिए एक विशेष व्यवस्था स्थापित की है। राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान के तहत 50 करोड़ रूपये का अनुदान हमारे विश्वविद्यालय के लिए निश्चित तौर पर बहुत बड़ी उपलब्धि है। H इंडेक्स 74 तक पहुुुंच गया है। ड्यूअल डिग्री बीएससी-एमएससी तथा एमएससी इकोनोमिक्स जैसे शुरू किए गए नए कोर्सों में उत्साहवर्धन के बाद हमने बीएससी इकनॉमिक , बीटैक सिविल इंजीनियरिंग तथा बीटैक इलैक्ट्रिकल इंजीनियरिंग कोर्स शुरू किए हैं। हमने योगा को भी साइंस और ट्रीटमंट के साथ जोड़ने की कोशिश की है। यह बेहद खुशी की बात है कि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय होने के बावजूद हमारे विश्वविद्यालय को हिन्दी व अंग्रेजी विषयों को पढ़ाने के लिए मंजूरी मिल चुकी है।
हमें लगभग 50 टीचिंग तथा नॉन टीचिंग की मंजूरी मिली है। शिक्षक तथा गैरशिक्षक कर्मचारियों की नई भर्तियां की जाती रही है। कर्मचारियों के लिए नए मकान बनाए गयेे हैं ओर कुछ अभी बन रहे हैं। हमारे यहां विद्यार्थियों की भागीदारी छैै ।बजपअपजल और सामाजिक क्षेत्र में सराहनीय हैं। हमारे यहां खेल के क्षेत्र में विद्यार्थी ही नहीं बल्कि कर्मचारियों ने भी पदक जीत कर विश्वविद्यालय का नाम रोशन किया है। मैं इन सब को विश्वविद्यालय की ओर से बधाई देता हूं। इसके बावजूद मैं कहूंगा कि यह केवल एक अच्छी शुरूआत है। अभी बहुत आगे जाना है। इसके लिए मैं इस मंच से आप सबसे सहयोग की अपेक्षा रखता हूं। साथ ही आपकी कार्यक्षमता को भी सलाम करता हूं कि इस विश्वविद्यालय परिवार की क्षमता के चलते ही हम इन उपलब्धियों को हासिल कर पाए हैं।
एक बार फिर देश के शहीदों व स्वतंत्रता सेनानियों को नमन तथा आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं।
जयहिंद जय भारत।